• 6 माह में 200 महिलाएं होंगी प्रशिक्षित
• महिलाओ के प्रोडक्ट के सेल के लिए सिडबी ऑनलाइन प्लेटफार्म
ओएनडीसी और ऑफलाइन प्लेटफोर्म उपलब्ध कराएंगी
– फेमस सिंगर रूप केडिया को हुनर ए बनारस ने किया सम्मानित
वाराणसी। काशी विश्वनाथ मंदिर पर अर्पित फूलों से महिलाओं को मिलेगा रोजगार का अवसर।
सिडबी के सहयोग से युवा ग्राम्य विकास समिति के माध्यम से साई इंस्टीट्यूट बसनी में आजीविका प्रशिक्षण कार्यक्रम” का शुभारम्भ किया गया। सिडबी लखनऊ के सहायक महाप्रबंधक नीरज भल्ला ने कहा काशी विश्वनाथ मंदिर अर्पित फूलों को कचरा की तरह फेका जायेगा न ही नदी बहाया जायेगा। अब इन फूलों से महिलाएं विभिन्न प्रकार के प्रोडक्ट बनाएगी और जो युवा ग्राम्य विकास समिति के माध्यम से साई इंस्टीट्यूट बसनी में 6 माह में 200 महिलाओं को प्रशिक्षित करेगी। जिसमे सहयोगी सिडबी ओएनडीसी प्लेटफार्म और पूरे देश में आयोजित स्वावलंबन मेले में उसकी मार्केटिंग में भी सहयोग करेगी। साथ ही पुरे देश में सिडबी के द्वारा आयोजित मेले में इन महिलाओ के प्रोडक्ट को सेल करने की भी व्यवस्था सिडबी के द्वारा किया जायेगा। सिडबी वाराणसी के उप महाप्रबंधक रितेश सिंह ने कहा कि इस ट्रेनिंग से मंदिर से निकलने वाले फूलों का कचरा वेस्ट नहीं होगा। फूल पत्तियों के वेस्ट से अब वेस्ट प्रोडक्ट तैयार होंगे और यह वेस्ट फूलों के निवारण का सबसे अच्छा उपाय है. आप इसे घर में कुटीर उद्योग केरूप में कर सकते हैं या फिर बड़े व्यवसाय का भी रूप दे सकते हैं। जिससे आप खुद के मुनाफे के साथ ही साथ अन्य लोगों के लिये रोजगार सृजन भी कर सकते हैं । अध्यक्षता करते हुए जॉइंट कमिश्नर, उद्योग उमेश सिंह ने कहा कि महिलाओ को मंदिर पर वेस्ट मेटेरियल से पैसा कमाने का हुनर भी सिखाया जा रहा है जो सराहनीय का कार्य है इससे वही पर्यावरण को भी स्वच्छ रखने में महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकते हैं। साईं इंस्टिट्यूट के निदेशक अजय सिंह ने कहा कि ग्रामीण महिलाओ को मंदिर में चढ़ाये गए फूलों से अगरबत्ती, धुप, हर्बल गुलाल, आदि सामग्री का प्रशिक्षण देकर उन्हें आत्मनिर्भर बनाया जा रहा है। अब यह फूल महिलाओं की आय का जरिया बन रहा है।
कार्यक्रम में अपने बलबूते संघर्ष करके अपनी एक मुकाम बनाने वाली फेमस गायिका रूप केडिया और ग्राफिक्स डिज़ाइनर मत्तिन खान को साईं इंस्टिट्यूट की तरफ से सम्मानित भी किया गया। सिडबी लखनऊ से तरुण अग्रवाल, सिडबी वाराणसी से लिली सक्सेना, प्रोजेक्ट निदेशक विकास गौरव, दिलीप सिंह, हर्ष सिंह, सीमा पाण्डेय और प्रतिमा सिंह आदि की उपस्थिति रही।